कॉलेज के चोदू प्रोफेसर से मेरी जवान सेक्सी बहन को चोदा

कॉलेज के चोदू प्रोफेसर से मेरी जवान सेक्सी बहन को चोदा

College Professor Student Sex : हाय फ्रेंड्सआप लोगो का नॉनवेज स्टोरी डॉट कॉम में स्वागत है। मैं रोज ही इसकी सेक्सी स्टोरीज पढ़ता हूँ और आनन्द लेता हूँ। आप लोगो को भी यहाँ की सेक्सी और रसीली स्टोरीज पढने को बोलूंगा। आज फर्स्ट टाइम आप लोगो को अपनी कामुक स्टोरी सुना रहा हूँ। कई दिन से मैं लिखने की सोच रहा था। अगर मेरे से कोई गलती हो तो माफ़ कर देना।

मेरा नाम कुलदीप यादव है। मेरी बहन वैदेही बहुत सेक्सी माल है और अब 23 साल की हो गयी है। वो इतनी सुंदर है की उसे देखकर किसी भी मर्द का लौड़ा खड़ा हो जाता है। वैदेही का बोयफ्रेंड उसको अनेक बार पेल खा चूका है। पर कुछ दिनों पहले मेरी बहन ने अपने कॉलेज के प्रोफेसर के चुदाई की स्टोरी मुझे बताई हूँ। जो मैं आपको सुना रहा हूँ। हर बात बता रहा हूँ। सबसे पहले वैदेही के बारे में बता देता हूँ। दोस्तों मेरी बहन काफी सुंदर है और उसका फेस कट बहुत जबर्दस्त है। रंग गोरा है और शरीर भरा हुआ है। खाते पीते घर की लगती है। वैदेही के दूध पहले तो बढ़ ही नही रहे थे। 13 14 साल तक उसके दूध न के बराबर बस नीबू जितने बड़े थे। मैंने कभी ध्यान नही दिया था पर अभी कुछ साल पहले 19 20 का होते होते वैदेही का जिस्म काफी सेक्सी और उभार वाला हो गया और मैं भी अपने को रोक न पाया। वैसे तो मैं भाई था। पर अब मैं भी जवान हो गया था। मैं अपनी बहन से सिर्फ एक साल बड़ा था। जब जब उसके दूध के दर्शन हो जाते लौड़ा सलामी देने लग जाता। मन ही मन अपनी बहन को चोदने के सपने देखता पर ऐसा हकीकत में होना नामुमकिन था। क्यूंकि कोई भी बहन कितनी चुदासी और सेक्सी न हो अपने भाई से नही चुदवाएगी।

पर हंसी मजाक तो वैहेदी से होता रहता था। उसने ही अपने कॉलेज के चुदाई की पूरी स्टोरी बताई। B.Sc फर्स्ट ईअर से उसके अरुण सर उसे पसंद करने लगे थे और अक्सर ताडकर देखा करते थे। मेरी बहन अपनी क्लास में सबसे जबरदस्ती माल थी और जब वो पीछे वाले सीट पर क्लास में बैठती थी वो अरुण सर उसको आगे बैठने को बोलते थे। और जब वो झुककर अपनी कॉपी पर लिखती थी तो वैहेदी के 36” के संतरे अरुण सर को दिख जाते है।

“बहनचोद!! कितनी जोर की माल है। इससे पहले की इसका BSc पूरा हो और ये कॉलेज छोड़ के जाए, इसे मैं किसी तरह जुगाड़ से चोद लूँगा” अरुण सर मेरी बहन के मस्त मस्त संतरे देखकर बोलते और अपने दांतों से अपने ओंठो को चबाने और काटने लग जाते। उनका लंड तो उसी वक्त क्लास में ही खड़ा हो जाता था। पर बाकी स्टूडेंट के बीच में कुछ नही कर सकते थे।

अरुण सर कॉलेज के सबसे जवान और चोदु प्रोफेसर थे। वो 7 फुट के अमिताभ बच्चन की तरह दिखते थे और उपर वाले से उनको बड़ा हैंडसम मर्द बनाया था। अच्छी खासे लम्बे चौड़े थे और रोज जिम जाकर अपनी बोडी बनाते थे। इस वजाह से उनका बदन फिट था और काफी सेक्सी मर्द लगते थे। अरुण सर को बाते बनाने की बड़ी कला आती थी और लड़कियों की तरफ देख देखकर पढ़ाते थे और मजा लेते रहते थे। कितनी लड़कियों की चूत फाड़ी थी अरुण सर ने। कोई जबरदस्ती नही करते थे। सुंदर लड़कियों को पटाने की हर कला उनको आती थी और लड़कियाँ भी उनकी तरफ अपनी मर्जी से चली जाती थी। उसके बाद तो अरुण सर उसकी चूत चाट चाटकर अपना मोटा हब्शी 12” का लौड़ा घुसाकर सभी लड़कियों की चूत फाड़ देते थे।

अब मेरी जवान चुदासी बहन वैदेही उनका नया शिकार बनने वाली थी। अरुण सर कितने बड़े चोदु है इसके बारे में सब लड़कियाँ जानती थी पर उनमे इतना आकर्षण था की सब कुछ जान बुझकर अपनी चूत फड़वा लेती थी। कई लड़कियाँ तो इतना चुद गयी की पेट से हो गयी। ये खबर अखबार तक में आ गयी जिसे सर ने पैसे देकर किसी तरह मामला दबाया। पर ये बात तो साफ है की आजतक जिस लड़की को सर से चोदा कोई जबरदस्ती नही की।

अब वो मेरी सेक्सी बहन वैदेही पर डोरे डालने लगी। वैदेही उनके बारे में सब जानती थी इसलिए जरा होशियार रहती थी। उसने वजीफे का फॉर्म भरा था BSc फर्स्ट इअर में। पर किसी वजह से स्कोलरशिप नही आया और उसे मजबूर होकर अरुण सर के पास जाना पड़ा। उस दिन सुबह के 11 बजे ही वैदेही उनके डिपार्टमेंट में चली गयी। अरुण सर उसे देखकर मुस्कुराने लगे।

“कैसी हो वैदेही??” वो अपने होठो को बायीं ओर दबाकर बोले

“अच्छी हूँ सर” वैदेही बोली

“आजकल तो दिखती ही नही हो!! कहाँ रहती हो” सर ने कहा

“हाँ पढ़ रही हूँ। नोट्स बना रही हूँ आजकल” वैहेदी ने कहा

उसके बाद अरुण सर उसके दूध ताड़ने लगे। मेरी बहन का फिगर 36 32 34 था। उपर से नीचे तक गोरी चिट्टी और सेक्सी थी वो। उसकी कॉलेज ड्रेस में ही उसके 36” की रसीली चूचियां पुरे गर्व और सम्मान से तनी हुई थी। अरुण सर का लौड़ा खड़ा होने लगा और वैदेही के दूध पीने का मन करने लगा।

“आओ पास बैठो” वो बोले और जबरदस्ती मेरी बहन को अपने बगल वाली कुर्सी में बिठा लिया और चपरासी को चाय लाने को बोल दिया। सर ने वैदेही का हाथ पकड़ लिया और सहलाने लगे। वैहेदी को भी अपनी स्कॉलरशिप चाहिए थी इसलिए वो वही बैठी रही और मीठी मीठी बाते करने लगी। सर को उसने बताया की वजीफा नही आया। कमर सर ने टेबल के नीचे से मेरी बहन की जांघो को छूना शुरू कर दिया और गोल मटोल मांसल जांघो पर हाथ लगाने लगे।

“सर ये आप क्या कर रहे है??? ऐसा मत करिये प्लीस” वैदेही नाज से बोली

“वैदेही!! तुम मुझे बड़ी अच्छी लगती हो। तुमको देखते हूँ तो बस देखता रह जाता हूँ” ये बात बोलकर अरुण सर ने मेरी बहन को पकड़कर उसके गालो पर पप्पी ले ली

वैदेही तो लजा गयी। वो पानी पानी हो गयी।

“क्या सर आप भी कही भी शुरू हो जाते है” वैदेही बोली पर इससे पहले वो चोदू अरुण सर से दूर खिसक पाती उन्होंने उसको पकड़ लिया और कमीज के उपर से उसके 36” की बड़ी बड़ी मुसम्मी हो दबाने लगे। 2 मिनट बाद ही चपरासी चाय लेकर आ गया जिसकी वजह से अरुण सर को फ़ौरन दूर हटना पड़ा। उन्होंने शाम को मेरी जवान बहन को अपने घर पर बुला लिया। वैहेदी शाम के 5 बजे अरुण सर के कमरे पर पहुच गयी। वो उसे अंदर ले गये।

“देखो वैदेही!! मैं इस बार तुमको स्कोलरशिप दिलवा दूंगा और तुमको प्रक्टिकल में 100 में से 95 नम्बर दिलवा दूंगा पर तुम मेरे ऑफर को रिजेक्ट मत करो” अरुण सर बोले

धीरे धीरे वैहेदी भी उनसे पटने लगी और जब सर को लगा की आज वैहेदी उनको चूत देगी तो उसे शाम को अपने घर नोट्स देने के बहाने बुला लिया। अंदर जाते ही वैहेदी को पकड़कर किस करने लगे। आज तो अपने ही घर में थे। कोई रोकने टोकने वाला नही था। वैदेही भी अरुण सर को पसंद करने लगी थी। सर ने उसे बाहों में लपेट लिया और गालो पर खूब चुम्मा लिया। फिर मेरी सेक्सी बहन के ओंठ चूसने और पीने लगे। वैदेही भी साथ देने लगी। दोनों मुंह से मुंह जोड़कर अच्छे से चुम्बन और एक दुसरे के लब चूसने लगे।

अरुण सर का लौड़ा 12” का था जो काफी मोटा तगड़ा था। उनका लौड़ा उनकी पेंट में खड़ा हो गया। वो मेरी सेक्सी बहन को अपने बेडरूम में ले गये और उसे बिस्तर पर लिटा दिया। अरुण सर भी वैदेही के उपर जा लेते और उसे प्यार करने लगे। मेरी बहन भी आज चुदने के मूड में दिख रही थी।

“वैहेदी मेरी जान!! अपनी मुसम्मी तो दिखाओ” अरुण सर बोले और उसके दुपट्टे को उसके सीने से हटा दिया। कमीज के उपर से मेरी जवान बहन के तने दूध सर को दिख गये। वो उसके यौवन को हाथ लगाने लगे। जब पहली बार उन्होंने वैदेही के सन्तरो पर हाथ रखा तो तो ऊँऊँऊँ सी सी सी सी करने लगी। उसके बाद तो सर की आँखों में वासना और चुदाई का गुलाबी सुरूर चढ़ गया। सर मेरी सेक्सी बहन के दूध दबाने लगे और गोल गोल करके हाथ घुमा रहे थे। वैदेही इस बीच लाज से आँखे बंदकर  “ओह्ह माँ….ओह्ह माँउ उ उ उ उ……अअअअअ आआआआ….करने लगी।

कुछ देर तक सर ने उसके संतरों को उपर से दबा दबाकर साईंज पता दिया। फिर उसकी कमीज उतरवा दी। अरुण सर ने अपनी शर्ट की बटन खोलना शुरू की तो वैहेदी जान गयी की आज नोट्स देने के बहाने सर से उसे चोदने खाने के लिए बुलाया है। फिर सर ने उसकी लाल ब्रा भी उतरवा दी। जब मेरी जवान बहन के मस्त मस्त आमो के दर्शन हुए तो सर के मुंह में पानी आ गया। लपक कर उन्होंने दोनों चूचियों को पकड़ लिया और हाथो से हल्का हल्का दबाने लगे। मेरी बहन ओहह्ह्हओह्ह्ह्हअह्हह्हहअई..अई. .अई उ उ उ उ उ करने लगी। उसके बाद तो सर की आँखों में और भी चुदाई वाला नशा चढ़ गया। उसकी 36” की तनी चूची को मुंह में लेकर चूसने लगे। वैदेही सी सी आ अई अई!!” किया जा रही थी। आज एक नई चूत सर के लौड़े से फटने वाली थी। आज मेरी बहन का तो फर्स्ट टाइम था चुदाई का पर अरुण सर ने पचासों लड़कियों को पेला खाया था। उनके लिए एक सब बस एक मनोरंजक खेल था। प्यार व्यार में वो विश्वास नही रखते थे और चोदने खाने में विश्वास रखते थे। जल्दी जल्दी मेरी सेक्सी बहन की दोनों मुसम्मी मुंह में लेकर दबा दबाकर चूस रहे थे। बार बार मुंह चलाकर सब रस चूस रहे थे।

इधर वैदेही भी “अरुण सर लव यू!! लव यू!!” कहने लगी और दोनों हाथो से उनके चेहरे को सहलाने लगी। सर ने खूब चूसा मेरी बहन के यौवन को। अब उसे पूरी तरह नंगा कर डाला। सामने मेरी बहन की चिकनी चूत का दीदार हो गया। सर घूरकर वैहेदी की भोसड़ी को देखने लगे। अपना कैमरा खीचा और फोटो ले ली। 4 फोटो खिंच ली।

“ये क्या अरुण सर???” वैदेही बोली

“कुछ नही जान! तुम्हारे जाने के बाद तेरी चूत की याद बड़ा सताएगी। इसलिए तस्वीर देखकर चैन मिल जाएगा” सर बोले फिर जल्दी जल्दी उसकी चिकनी चूत को चाटने लगे। कुवारी कसी चूत को मजे लेकर चाटने लगे। वैदेही आआआअह्हह्हह…..ईईईईईईई….ओह्ह्ह्….अई. .अई..अई…..अई..मम्मी…. करने लगी। सर ने अपनी पेंट और अंडरवियर उतार दिया और नंगे हो गये। मुंह लगाकर मेरी बहन का भोसड़ा चाटने लगे और दूसरे हाथ से अपने लौड़े को मुठ देने लगे। दो काम एक साथ कर रहे थे। वैहेदी भी ठरकी हो गयी और अपने दूध अपने हाथो से दबाने लगी।

“आह ऊ ऊ चूसो!! और चूसो सर!! अच्छे से चाटो मेरी भोसड़ी को” वैदेही कहने लगी तो सर भी जोश में आ गये। अब तो और वीरता से जीभ बढ़ाकर उसकी कैसैली चूत चाट रहे थे। चूत के दाने को ऊँगली से हिला हिलाकर मेरी बहन का बुरा हाल कर दिया। वैदेही ……मम्मीमम्मी…..सी सी सी सी.. हा हा हा…..ऊऊऊ ….ऊँ. .ऊँऊँउनहूँ उनहूँ..”  करने लगी। अब सर ने अपना 12” का लौड़ा उसकी भोसड़ी पर रख दिया। वैदेही ने आँखें डर की वजह से बंद कर ली। अरुण सर लौड़ा अंदर घुसाने लगे। वैदेही की चूत की झिल्ली फटने लगी और लौड़ा का टोपा अंदर चूत में घुसने लगा। अरुण सर से और फ़ोर्स लगा दी और अंत में ताकतवर लौड़े के आगे चूत को झुकना पड़ा। चोदू अरुण सर का पहलवान लौड़ा 5” अंदर चूत में घुस गया तो वैदेही ““ हूँउउउ हूँउउउ हूँउउउ ….ऊँऊँऊँ सी ओ हो हो….मरी मैं…सर मरी मैं कहने लगी। सर की आँखों में वासना का समुन्द्र ऊँची ऊँची लहरे मारने लगा और वैदेही जैसे मस्त लौडिया को दर्द में तड़पते देख उनको बहुत सुख मिला।

वैदेही को आज कसके चोदने के मूड मे थे। इसलिए अपने बेताबी वो रोक न सके और जल्द ही दूसरा धक्का मार दिया। इस बार मेरी जवान बहन की भोसड़ी अंदर तक फट गयी और चूत से खून निकलने लगा। वैदेही दर्द से रोने लगी। अरुण सर ने उसके मुंह पर हाथ रख दिया और उसको दबाकर पेलने लगे। वैहेदी की माँ बहन एक कर दी। दर्द भी में उसे पेलते रहे और उनका लंड का टोपा लाल खून से सन गया। उन्होंने फिर से वैदेही की सील टूटी चूत की फोटो फोन से खींच ली। सर चूत को चाटना चाहते थे पर अभी तो काफी खून था चूत में। अरुण से ने मेरी जवान बहन की चूत को ऊँगली से खोला और चूत का छेद दिख गया। कुछ फोटोज और ली और अपने अंडरवियर ने उसकी चूत को पोंछकर साफ़ किया। उ उ उ उ उ……अअअअअ आआआआ सी सी सी सी….. ऊँऊँऊँ….अरुण सर दर्द हो रहा है!!” मेरी बहन बोली

सर ने मुस्करा दिया। “थोडा दर्द तो होगा ही पर अब दुबारा नही होगा” अरुण सर बोले। उसके बाद एक साफ़ कपड़े को पानी से भिगाकर फिर ने मेरी आवारा बहन की भोसड़ी को साफ़ किया। फिर सूखे कपड़े के पोंछ दिया। उसके बाद जल्दी जल्दी मेरी बहन की चाट चाटने लगे। वैदेही को थोडा आराम मिला। अब आकर उसके बगल लेट गये। “वैदेही!! मेरा लंड कह रहा है इसको तुमको मुंह में लेकर चूसो!!” अरुण सर बोले

वैदेही उठ गयी और सर के लौड़े के टोपे पर किस दे दिया। फिर लंड का टोपा चाटने लगी। धीरे धीरे हाथ से लंड को फेटते हुए मुंह में लेकर चूसने लगी। अरुण सर मजे मुतने लगे। अरुण सर के अंग अंग में मस्ती भरने लगी। हल्की हल्की उनकी झांटे थी जिसे मेरी सेक्सी बहन हाथ से सहला रही थी। “चूसो वैदेही—और अच्छे से चूस डालो” अरुण सर बोले। अब मेरी जवान बहन जल्दी जल्दी सर के 12” लम्बे और 3” मोटे लंड को फेटने लगी और मुंह में लेकर चूसने लगी। वो सर के लौड़े से मंजन करने लगी। किसी जमी हुई कुल्फी की तरह सर का लौड़ा चूस रही थी। अरुण सर मजे ले रहे थे।

कुछ देर बाद उन्होंने मेरी जवान छिनाल बहन को कुतिया बना दिया और अब उसकी गांड चाटने लगी। जीभ लगाकर अच्छे से गांड के छेद को चाट चाटकर साफ़ किया। फिर अपने लंड के टोपे पर तेल लगा लिया। वैदेही की गांड में लंड घुसाने लगी पर अंदर ही नही जा रहा था। बार बार कोशिश करते थे। करीब 10 मिनट बाद बड़ी मेहनत करके अरुण सर ने अपन लंड मेरी बहन की कुवारी गांड में घुसा दिया और उसकी गांड चोदने लगी। वैदेही को काफी दर्द हो रहा था। फिर भी सर उसकी गांड को चोदते रहे। फिर 10 मिनट बाद उसकी गांड में ही आउट हो गये। आपको स्टोरी कैसी लगी मेरे को जरुर बताना और सभी फ्रेंड्स नई नई स्टोरीज के लिए नॉनवेज स्टोरी डॉट कॉम पढ़ते रहना आप स्टोरी को शेयर भी करना।

Categories Antarvasna

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *